Quote:
Originally Posted by Chaand
नज़ाकत, नफासत, मस्ती, बेफिक्री
वो कद, वो हद, और बातों की मिठास
वो सुन्दर नासिका, मुस्कुराते से होंठ,
वो बलखाती सी चाल और मचलते बाल,
कुछ नम कुछ कम बतियाती वो आँखें,
सांवला सा रंग, और उसपर वो उमंग
न जाने कहाँ कहाँ तक हो आया ये चाँद
नज़र नज़र में कितने रिश्ते जोड़ आया ये चाँद
कुछ खबर ही नहीं ए दिल कोई काम हुआ ?
ये चाँद पहले भी धब्बों में जिया करता है
देखें इक और मरतबा, नाम या बदनाम हुआ।
- चाँद
|
Waaah waaah waaaaah
bohot khoob likha hai aapne.
nacheej ki daad hazir hai
Aapka apna
bhushan