चन्द पैसो के लिए -
2nd August 2013, 08:32 PM
क्यों मुझे तुमने रुलाया चन्द पैसो के लिए
किस तरह भूखा सुलाया चन्द पैसो के लिए
कौन सी मुझसे बड़ी गलती हुई, क्या बात है
तुमने कैसे मुँह फिराया चन्द पैसो के लिए
आज मुझसे दूर कितना जा रहा तू सोच ले
किस तरह तूने भगाया चन्द पैसो के लिए
जां रखी मैंने हथेली पर तुम्हारे वास्ते
फिर कहो कैसे सताया चन्द पैसो के लिए
ख्व़ाब भी आया न जाने क्यों अधूरा, रात भर
ख्वाब में भी दिल दुखाया, चन्द पैसो के लिए
नींद गायब हो गयी है, चैन भी अब है कहाँ
क्यों मुझे काटा-चुभाया चन्द पैसो के लिए
Ketan Parmar Indori
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